PKL 11 में दबंग दिल्ली की ताकतें और कमजोरियां
PKL 11 में दिल्ली अपने अभियान का आगाज 18 अक्टूबर से करेगी।
प्रो कबड्डी लीग (PKL) में पिछले चार सीजनों से दमदार प्रदर्शन कर रही दबंग दिल्ली एक बार कुछ वैसा ही प्रदर्शन करने की कोशिश करेगी। आठवें सीजन में पहली बार ट्रॉफी उठाने वाली दिल्ली ने पिछले दो सीजन लगातार एलिमिनेटर तक का सफर तय किया है। खास तौर से पिछले सीजन कप्तान नवीन कुमार के बगैर उन्होंने अदभुत प्रदर्शन किया था। 11वें सीजन (PKL 11) के लिए दिल्ली की टीम में कई बदलाव भी हुए हैं, जिनसे उनके प्रदर्शन को लेकर उत्सुकता बढ़ी है।
दबंग दिल्ली ने नीलामी में सिद्धार्थ देसाई और रिंकू नरवाल जैसे अनुभवी खिलाड़ियों को अपने साथ जोड़ा है। इसके अलावा उन्होंने पिछले सीजन की अपनी कोर टीम को बनाए रखा है। ऐसे में दिल्ली के पास एक संतुलित टीम बन चुकी है। अब यह देखना दिलचस्प होगा कि आगामी सीजन में टीम का प्रदर्शन किस तरह का रहने वाला है।
दबंग दिल्ली का मजबूत पक्ष
दिल्ली की ताकत उनकी रेडिंग तिकड़ी रहने वाली है। नवीन और आशू मलिक टीम के लिए काफी सफल साबित हुए हैं और अब सिद्धार्थ के आने से रेडिंग और भी मजबूत होगी। पिछले सीजन आशू ने 280 प्वाइंट्स हासिल किए थे जिनमें से 276 रेड में आए थे। वह पिछले सीजन संयुक्त रूप से सबसे सफल रेडर रहे थे। नवीन की गैरमौजूदगी में आशू का यह प्रदर्शन काबिलेतारीफ था। अब नवीन की वापसी पर सबकी निगाहें टिकी हुई हैं।
पिछले सीजन सिद्धार्थ ने 17 मैचों में केवल 82 रेड प्वाइंट्स ही हासिल किए थे। पिछले कुछ सीजन में वह अपने नाम के हिसाब से प्रदर्शन करने में नाकाम जरूर रहे हैं, लेकिन उनका कद ऐसा है कि वह कभी भी विपक्षी टीमों को चौंका सकते हैं। यदि सिद्धार्थ ने लय पकड़ ली तो फिर यह तिकड़ी दिल्ली के लिए काफी शानदार हो सकती है।
दिल्ली का कमजोर पक्ष
दिल्ली के डिफेंस में अनुभव की कमी साफ तौर पर देखी जा सकती है। इसके अलावा टीम ने एक सबसे बड़ी चूक ये कर दी है कि उन्होंने टीम में केवल एक ही राइट कॉर्नर को जगह दी है। पिछले सीजन 74 टैकल प्वाइंट्स के साथ लीग के तीसरे सबसे सफल डिफेंडर रहे योगेश को यह जिम्मेदारी सौंपी गई है। हालांकि, योगेश के बैकअप के रूप में टीम में दूसरा कोई राइट कॉर्नर मौजूद नहीं है। लेफ्ट कॉर्नर आशीष ने भी पिछले सीजन 48 टैकल प्वाइंट्स लिए थे और वह भी टीम में बने हुए हैं।
टीम में चार डिफेंडर ऐसे हैं जिनका यह पहला सीजन होने वाला है। रिंकू नरवाल 75 मैच खेल चुके हैं, लेकिन उनका करियर इतना कुछ खास नहीं रहा है। उन्हें एक औसत डिफेंडर के रूप में ही गिना जाना है क्योंकि अब तक वह 150 टैकल प्वाइंट्स भी पूरे नहीं कर पाए हैं। आशीष और योगेश ने भी पिछले सीजन ही अपना डेब्यू किया था। एकदम नई डिफेंस के साथ इतने लंबे सीजन में खेलना दिल्ली के एक चुनौती बन सकती है।
इन खिलाड़ियों पर होंगी निगाहें
नवीन एक्सप्रेस के नाम से मशहूर हो चुके नवीन कुमार को रोकना अब तक किसी डिफेंस ने सीखा नहीं है। नवीन अकेले दम पर अपनी टीम को जीत दिलाने का दम रखते हैं। हालांकि, पिछले सीजन केवल छह मैच खेलने के बाद ही उन्हें चोट के कारण पूरे सीजन से बाहर होना पड़ा था। पिछले सीजन भी केवल छह मैचों में ही उन्होंने 72 प्वाइंट्स हासिल कर लिए थे। वह 91 मैचों में ही 1005 रेड प्वाइंट्स ले चुके हैं और छठे सर्वाधिक रेड प्वाइंट्स वाले रेडर हैं। 63 सुपर 10 लगा चुके नवीन लीग के तीसरे सर्वाधिक सुपर 10 वाले रेडर हैं।
नवीन के अलावा युवा डिफेंडर योगेश से भी टीम को काफी उम्मीदें होंगी। दिल्ली की टीम चाहेगी कि योगेश पिछले सीजन वाले प्रदर्शन को दोहराएं और दिल्ली की डिफेंस को लीड करें। इसके अलावा सिद्धार्थ देसाई की फॉर्म भी दिल्ली के लिए काफी अहम होगी। नवीन और आशू जैसे शानदार रेडर्स के बीच यदि सिद्धार्थ ने भी लय हासिल कर ली तो फिर दिल्ली के आक्रमण का जवाब शायद ही कोई टीम दे पाएगी।
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