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कबड्डी न्यूज

तेलुगु टाइटंस की हार के बावजूद पीकेएल में निखरे आदर्श टी

Published at :May 2, 2022 at 10:28 PM
Modified at :December 13, 2023 at 1:01 PM
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(Courtesy : PKL)

Gagan


इस डिफेंडर ने रेडिंग में अपनी स्किल से सबको हैरान कर दिया।

प्रो कबड्डी लीग (पीकेएल) के 8वें सीजन में तेलुगु टाइटंस का परफॉर्मेंस काफी खराब रहा। टीम को देखकर कभी भी ऐसा लगा ही नहीं कि वो प्लेऑफ में जगह बना सकते हैं। तेलुगु टाइटंस ने पीकेएल के 8वें सीजन में कुल मिलाकर 22 मुकाबले खेले, जिसमें से उन्हें सिर्फ एक ही मैच में जीत हासिल हुई, जबकि 17 मुकाबलों में हार का सामना करना पड़ा। उनके चार मैच टाई भी रहे। हर एक मैच में तेलुगु टाइटंस की टीम वही गलती दोहराती गई और नतीजा ये हुआ कि वो किसी भी टीम को चुनौती देने में कामयाब नहीं रहे।

तेलुगु टाइटंस के लिए सबसे बड़ी दिक्कत की बात ये रही कि उनकी टीम के सबसे बड़े स्टार रेडर सिद्धार्थ देसाई पीकेएल सीजन की शुरूआत में ही इंजरी का शिकार हो गए। इसके बाद वो कभी वापसी ही नहीं कर पाए। सिद्धार्थ देसाई अपने दम पर किसी भी मैच को जिताने का माद्दा रखता हैं लेकिन जब इतना बड़ा रेडर सीजन की शुरूआत में ही चोटिल हो जाता है तो उसका काफी असर टीम के मनोबल पर पड़ता है। तेलुगु टाइटंस की टीम के साथ भी यही हुआ। सिद्धार्थ के बाहर होने के बाद पूरी टीम बिखर सी गई और कभी वापसी ही नहीं कर पाई। कप्तान रोहित कुमार भी टीम को एकजुट नहीं कर सके और उनका खुद का परफॉर्मेंस भी काफी खराब रहा।

टीम का परफॉर्मेंस भले ही काफी खराब रहा लेकिन इस बीच कुछ प्लेयर रहे जिन्होंने शानदार खेल से अपनी एक अलग पहचान बनाई। संदीप कंडोला और अंकित बेनीवाल ने काफी प्रभावित किया। वहीं लेफ्ट कॉर्नर डिफेंडर आदर्श टी ने भी उम्मीद से बढ़कर प्रदर्शन किया। उन्होंने डिफेंस के अलावा रेडिंग डिपार्टमेंट में भी काफी प्रभावित किया। वो टीम के उन चुनिंदा प्लेयर्स में शामिल रहे जिन्होंने विरोधी टीम के सामने चुनौती पेश की।

आदर्श टी ने डिफेंडर होने के बावजूद रेडिंग में ज्यादा प्वॉइंट लिए

लेफ्ट कॉर्नर डिफेंडर ने एक ऑलराउंडर के तौर पर बेहतरीन खेल दिखाया। उन्होंने 21 मैचों में 86 प्वॉइंट हासिल किए। हालांकि आपको जानकर ये हैरानी होगी कि आदर्श टी ने इन 86 में से 76 प्वॉइंट रेडिंग में लिए। वो टीम में एक मेन डिफेंडर के तौर पर खेल रहे थे लेकिन डिफेंस में वो सिर्फ 10 ही टैकल प्वॉइंट ला सके, जबकि रेडिंग में 76 प्वॉइंट हासिल किए। यही नहीं उन्होंने रेडिंग के कई बेहतरीन स्किल्स भी दिखाए। स्कार्पियन किक और रनिंग हैंड टच समेत कई जबरदस्त स्किल उनसे देखने को मिला और उनके खेल के देखकर ये लगा ही नहीं कि वो टीम में डिफेंडर के तौर पर खेल रहे हैं।

आदर्श टी ने भले ही तेलुगु टाइटंस के लिए शानदार प्रदर्शन किया लेकिन अन्य प्लेयर्स का साथ नहीं मिलने की वजह से टीम जीत हासिल नहीं कर पाई। कोई भी टीम तभी सफल हो सकती है जब उसके सभी खिलाड़ी अपना-अपना योगदान दें। अगर सिर्फ एक या दो प्लेयरों के ऊपर टीम निर्भर रहेगी तो उसे एक या दो मैचों में तो जीत मिल सकती है लेकिन टूर्नामेंट में लगातार आगे बढ़ना मुश्किल हो जाएगा। आदर्श टी ने अपने खेल से दिखाया कि अगर दूसरे खिलाड़ी भी उसी जोश और जज्बे से खेलते तो स्थिति अलग हो सकती थी।

बंगाल वॉरियर्स के लिए आदर्श टी ने की थी पीकेएल करियर की शुरूआत

अगर हम इस युवा खिलाड़ी के ओवरऑल करियर की बात करें तो पीकेएल में इससे पहले वो बंगाल वॉरियर्स के लिए खेल चुके हैं और 8वें सीजन में तेलुगु टाइटंस की टीम में थे। सीजन-6 में बंगाल की टीम में उन्हें दिग्गज डिफेंडर रण सिंह के बैकअप के तौर पर लाया गया था और उन्होंने बहुत कम समय में ही अपने खेल से काफी प्रभावित किया था। आदर्श टी ने 12 टैकल प्वॉइंट हासिल किए थे। यही वजह रही कि बंगाल ने उन्हें सातवें सीजन के लिए भी रिटेन किया। हालांकि आठवें सीजन से पहले टीम ने उन्हें रिलीज कर दिया और ऑक्शन के दौरान तेलुगु टाइटंस ने 10 लाख में उन्हें खरीद लिया।

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